छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिले के शोभा थाना क्षेत्र के जंगलों में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई, जिसमें सुरक्षाबलों ने एक वर्दीधारी नक्सली को मार गिराया। मारे गए नक्सली की पहचान डीवीसीएम आयतु उर्फ योगेश कोरसा के रूप में हुई है। मुठभेड़ के दौरान अन्य नक्सली भागने में सफल रहे। मौके से सुरक्षाबलों ने एक एसएलआर हथियार समेत कई आवश्यक सामान बरामद किए हैं।
गरियाबंद के पुलिस अधीक्षक ने मुठभेड़ की पुष्टि करते हुए बताया कि यह कार्रवाई सर्च ऑपरेशन के दौरान हुई। नक्सलियों ने पहले फायरिंग की, जिसके बाद जवानों ने जवाबी कार्रवाई की। फिलहाल क्षेत्र में सर्चिंग अभियान तेज कर दिया गया है और सुरक्षा बल अलर्ट मोड पर हैं।
इस मुठभेड़ से पहले, जनवरी 2025 में गरियाबंद जिले में एक बड़ी मुठभेड़ हुई थी, जिसमें 16 नक्सली मारे गए थे। उनमें से 12 नक्सलियों पर कुल ₹3.13 करोड़ का इनाम था। इस ऑपरेशन में मारे गए नक्सलियों में से एक, जयराम उर्फ चलपति, माओवादी केंद्रीय समिति के सदस्य थे और उन पर ₹90 लाख का इनाम था। यह पहली बार था जब छत्तीसगढ़ में किसी केंद्रीय समिति सदस्य को मुठभेड़ में मारा गया ।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने इस सफलता को सुरक्षाबलों की बहादुरी का प्रतीक बताया और कहा कि केंद्र और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों से छत्तीसगढ़ को मार्च 2026 तक नक्सलवाद से मुक्त किया जाएगा ।
इस मुठभेड़ के बाद, क्षेत्र में सुरक्षा व्यवस्था और सख्त कर दी गई है, और सुरक्षाबलों द्वारा लगातार सर्च ऑपरेशन चलाए जा रहे हैं ताकि नक्सलियों की गतिविधियों पर पूर्ण विराम लगाया जा सके।
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