मानव तस्करी में गिरफ्तार नन का मामला – छत्तीसगढ़ के दुर्ग रेलवे स्टेशन पर बजरंग दल कार्यकर्ताओं द्वारा पकड़ी गई दो मिशनरी सिस्टर्स, प्रीति मैरी और वंदना फ्रांसिस, पिछले 9 दिनों से दुर्ग जेल में बंद हैं। उन पर ह्यूमन ट्रैफिकिंग का आरोप लगाया गया था, जब वे तीन आदिवासी युवतियों और एक युवक के साथ यात्रा कर रही थीं। इस मामले में बजरंग दल ने जीआरपी थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी।
मानव तस्करी का मामला में ननों की गिरफ्तारी के बाद पूरे देश में विरोध शुरू हो गया है। संसद के दोनों सदनों – लोकसभा और राज्यसभा में इस मामले को जोर-शोर से उठाया गया। केरल और मेघालय समेत कई राज्यों में प्रदर्शन हुए। केरल से सांसदों का एक प्रतिनिधिमंडल दुर्ग जेल पहुंचकर ननों से मिला और उन्हें फर्जी केस में फंसाए जाने का आरोप लगाया। मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा ने भी मामले को लेकर चिंता जताते हुए सरकार से केस रद्द करने की अपील की है।
इस बीच ननों की जमानत याचिका दुर्ग कोर्ट से खारिज हो चुकी है, जिसके बाद मामला अब बिलासपुर की एनआईए कोर्ट पहुंच गया है। आज, 2 अगस्त को कोर्ट इस मामले पर फैसला सुना सकता है। ननों के वकीलों का कहना है कि पुलिस के पास उनके खिलाफ कोई ठोस सबूत नहीं हैं, और उन्हें जल्द ही जमानत मिल सकती है।
More Stories
Ration Card Suspended: बिना E-KYC के अब नहीं मिलेगा राशन, 32 लाख कार्डों पर कार्रवाई
Accident On The Bridge: पुल से नीचे गिरा हाइवा, ड्राइवर की मौके पर मौत
Smartphone Theft: 10 लाख के स्मार्टफोन पर हाथ साफ, चोरों ने तोड़ी दुकान की दीवार